अखिलेश यादव ने भाजपा सरकार पर किया हमला, कहा संविधान को खतरा है
लखनऊ । समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने भाजपा सरकार पर गंभीर आरोप लगाए हैं। उन्होंने कहा कि भाजपा सरकार का एजेंडा युवाओं को नौकरी देने का नहीं है, बल्कि वह साजिशों और षड्यंत्रों के जरिए आरक्षण छीनने की कोशिश कर रही है। लखनऊ के बीकेटी स्थित सैरपुर बाजार में आयोजित संविधान मेला एवं युवा महोत्सव कार्यक्रम में श्री यादव ने कहा कि भाजपा की नीतियां युवा, किसान और पीडीए विरोधी हैं। श्री यादव ने बताया कि सरकार ने नौकरियों को आउटसोर्स कर दिया है ताकि आरक्षण से बचा जा सके। उन्होंने कहा कि भाजपा पीडीए से उनका हक छीनने के प्रयास में है और उन्हें बराबरी पर आने नहीं देना चाहती। साथ ही, उन्होंने यह भी कहा कि भाजपा सरकार संविधान विरोधी कार्य कर रही है और बाबा साहब डॉ. भीमराव अंबेडकर के बनाए संविधान पर संकट आ सकता है। श्री यादव ने यह भी कहा कि जब तक भाजपा की सरकार है, संविधान को खतरा बना रहेगा, क्योंकि भाजपा मनविधान से देश को चलाना चाहती है। उन्होंने संविधान की रक्षा करने की अपील की और कहा कि जब तक दिल्ली और लखनऊ से भाजपा की सरकार का सफाया नहीं होगा, तब तक संविधान की रक्षा नहीं हो सकती। अखिलेश यादव ने आगे कहा कि भाजपा गरीबी, दलितों, पिछड़ों और आदिवासियों के अधिकारों की रक्षा के बजाय उन्हें बांटने का काम कर रही है। उन्होंने कहा कि संविधान सभी को सम्मान और अधिकार दिलाने का काम करता है और यह लोकतंत्र की नींव है। पूर्व मुख्यमंत्री ने यह भी आरोप लगाया कि भाजपा सरकार ने किसानों, नौजवानों और व्यापारियों से धोखा किया है। उन्होंने कहा कि भाजपा के युवा विरोधी नीतियों के कारण युवाओं ने लोकसेवा आयोग के खिलाफ आंदोलन किया और सरकार को झुकने पर मजबूर कर दिया। श्री यादव ने कहा कि भाजपा समाज को बांटने और नफरत फैलाने का काम कर रही है। मुख्यमंत्री के बटोगे तो कटोगे वाले बयान को उन्होंने भारतीय इतिहास का सबसे निगेटिव और असंवैधानिक नारा बताया। उन्होंने इस बयान को अंग्रेजों के डिवाइड एंड रूल जैसे विचार से जोड़ा। उन्होंने अंत में कहा कि भाजपा उपचुनावों में हराने वाली है और सत्ता का दुरुपयोग कर रही है, ताकि लोगों को वोट डालने से रोका जा सके। उन्होंने जनता से संविधान बचाने और आगे बढऩे का संकल्प लेने का आह्वान किया।