मंडलायुक्त ने किया कलैक्ट्रेट नैनीताल का व्यापक निरीक्षण
नैनीताल, ( आखरीआंख ) तयशुदा कार्यक्रम के अनुसार आयुक्त कुमाऊॅ मण्डल राजीव रौतेला ने गुरूवार को कलैक्ट्रेट नैनीताल का व्यापक निरीक्षण किया। निरीक्षण के दौरान जिलाधिकारी विनोद कुमार सुमन के अलावा जिले के अन्य वरिष्ठ अधिकारी भी मौजूद थे। निरीक्षण के उपरान्त आयुक्त श्री रौतेला ने कलैक्ट्रेट सभागार में जिले भर के सभी उप जिलाधिकारियों, तहसीलदारों को सम्बोधित किया।
श्री रौतेला ने अधिकारियों से कहा कि सभी अधिकारी बेहतर जनसेवक के रूप में अपनी उपस्थिति जनता के बीच दर्ज कराये ताकि लोगों को लगे कि उनके जन सेवक उनकी समस्या जानने एवं उसके निराकरण के लिए उनके बीच मौजूद है। उन्होंने कहा कि पद की गरिमा से ऊपर उठकर सच्चे एवं जन उपयोगी जन सेवक के रूप में अपनी छवि बनानी होगी। उन्होंने कहा कि परगना स्तर पर उप जिलाधिकारी को शासन द्वारा प्रशासनिक मजिस्ट्रेट के रूप में तैनात किया है जिसका उद्देश्य है कि वह अपने परगने के विकास, कानून व्यवस्था तथा जन समस्याओं के निराकरण की दिशा में बेहतर कार्य करें।उन्होंने कहा कि तहसील दिवसों में घटती हुई फरियादियों की संख्या इस बात का संकेत है कि हमारी उपस्थिति जनता के बीच नहीं है और अधिकारियों व जनता के बीच स्वस्थ दो तरफा संवाद भी कायम नहीं है। उन्होंने कहा कि जन समस्याओं के निराकरण के लिए तहसील दिवस सबसे उपयोगी एवं विश्वसनीय मंच है, लेकिन देखने में आ रहा है कि हमारे अधिकारी तहसील दिवसों को हलके में लेते है यहाॅ तक कि गायब भी रहते हैं। उन्होंने अधिकारियों से कहा कि वह तहसील स्तर और जिला स्तर पर आयोजित होने वाले तहसील दिवस को जन उपयोगी बनाए ताकि इन दिवसों में फरियादियों की संख्या में इजाफा हो। उन्होंने उप जिलाधिकारियों से कहा कि वह अपने अधीनस्थों का न तो मूल्यांकन करते हैं और न ही उन पर अधिकारियों का बेहतर प्रशासनिक नियंत्रण है,ऐसे में कार्य प्रणाली एवं सिस्टम ढीलेपन से कार्य करता है। उन्होंने कहा कि उप जिलाधिकारियों के न्यायालयों में राजस्व वादों का ढेर लगा है जिनका निस्तारण बहुत ही कछुआ गति से हो रहा है। गरीब परिवादी को त्वरित न्याय मिले इसके लिए सभी उप जिलाधिकारी अपने न्यायालयों में अनिवार्य रूप से लक्ष्य निर्धारित करते हुए वादो का निस्तारण करें।
आयुक्त ने कहा कि विभिन्न माध्यमों से यह जानकारी मिलती रहती है कि उप जिलाधिकारी एवं तहसीलदारों का कार्यालय में बैठने का कोई समय निर्धारित नहीं है, जिससे उनके कार्यालय में आने वाले फरियादियों एवं जनता को असुविधा होती है। उन्होंने कहा कि सभी उप जिलाधिकारी एवं तहसीलदार अनिवार्य रूप से प्रत्येक कार्यदिवस में अपने कार्यालय में जन साधारण को उपलब्ध रहें। उन्होंने कहा कि उप जिलाधिकारी के कार्यों में तेजी लाने के लिए नए कार्य आदेश आयुक्त कार्यालय से निर्गत किया जा रहा है। जिसके अन्तर्गत मण्डल के सभी उप जिलाधिकारी अनिवार्य रूप से अपने परगने के विद्यालयों, स्वास्थ्य केन्द्रो, सस्ता गल्ले की दुकानों, शासकीय कार्यालयों का निरीक्षण करेंगे। इसकी रिपोर्ट जिलाधिकारी के माध्यम से उन्हें भेजी जाएगी। उन्होंने जिलाधिकारी श्री विनोद कुमार सुमन को निर्देश दिए कि कार्य की गुणवत्ता एवं बेहतर आउट पुट के लिए जरूरी है कि कर्मचारियों को समय समय पर प्रशिक्षण दिया जाए। उन्होंने कहा कि मृतक आश्रित नियुक्ति व्यवस्था के अन्तर्गत जिन कर्मियों विशेषकर महिलाओं की तैनाती की गई है उनको सम्बन्धित पटल का ज्ञान देने के लिए विशेष प्रशिक्षण की व्यवस्था कराएं ताकि उनकी कार्य गुणवत्ता बेहतर हो सके। कलैक्ट्रेट के कर्मचारियो की कार्य प्रणाली, गुणवत्ता एवं आउटपुट के मूल्यांकन के लिए जिलाधिकारी अनिवार्य रूप से मासिक स्टाफ बैठक का आयोजन सुनिश्चित करें। उन्होंने जिलाधिकारी को निर्देश दिए कि अपर जिलाधिकारी वित्त एवं राजस्व कलैक्ट्रेट के कर्मचारियों के साथ उच्च गुणवत्ता एवं बेहतर आउटपुट केसाथ कार्य करें जबकि अपर जिलाधिकारी प्रशासन की उपस्थिति अपर पुलिस अधीक्षक के साथ जनता के बीच में प्रभावी ढंग से होनी चाहिए।
बैठक से पूर्व आयुक्त ने कलैक्ट्रेट में पुलिस गारद की सलामी ली इसके उपरान्त, नाजरात, एनआईसी, राजस्व संग्रह कार्यालय, उप निबन्धक कार्यालय, भू-अभिलेख कार्यालय व अन्य पटलों का व्यापक निरीक्षण किया। भू- अभिलेख कार्यालय निरीक्षण के दौरान संतोष व्यक्त किया। उन्होंने कहा कि बदलते दौर में अभिलेखों के डिजिटाईजेशन की आवश्यकता है, सरकार द्वारा प्रदेश के दो जनपदों में अभिलेखों के डिजिटाईजेशन का कार्य पायलट प्रोजेक्ट के तौर पर किया जा रहा है। उन्होंने भू अभिलेखों के डिजिटाईजेशन करने का प्रस्ताव शासन को प्रेषित करने के निर्देश दिए। निरीक्षण के दौरान अपर आयुक्त संजय खेतवाल, अपर जिलाधिकारी कैलाश टोलिया, अपर जिलाधिकारी वित्त एवं राजस्व सुरेन्द्र सिंह जंगपांगी, सिटी मजिस्ट्रेट प्रत्यूष सिंह, उप जिलाधिकारी हरगिरी गोस्वामी, अनिल चन्याल, विवेक राय, विजयनाथ शुक्ल, विनोद कुमार, एसएलओ एनएस नबियाल के अलावा जनपद के सभी तहसीलदार, वैयक्तिक अधिकारी कवीन्द्र पाण्डेय व अन्य