नए साल के लिए मंसूरी सजधजकर तैयार
मंसूरी( आखरीआंख समाचार ) नए साल का जश्न मनाने के लिए पर्यटक मसूरी की ओर रुख करने लगे हैं। पर्यटकों के स्वागत के लिए कई होटलों में विशेष इंतजाम किए गए हैं।
मसूरी कई मायनों में घूमने के लिए पर्यटकों की पंसददीदा जगह है। मसूरी आने वाले पर्यटक कई जगहों पर भी जा सकते हैं। मसूरी हिल स्टेशन कपल्स का फेवरिट हनीमून डेस्टिनेशन है।
लोग फैमिली को लेकर भी यहां आना पसंद करते हैंमसूरी की शांत वादियों के बीच यह है। यहां एक घर बना हुआ है। यह वह घर है जहां वर्ष 1832 से 1843 के बीच भारत की कई ऊंची चोटियों की खोज हुई और उन्हें मानचित्र पर उकेरा गया। यह घर सर जॉर्ज एवरेस्ट का है। कॉनेल सर जॉर्ज एवरेस्ट वेल्स सर्वेक्षक और भौगोलिक थे। इसके साथ ही वह 1830 से 1843 तक भारत के सर्वेयर जनरल रहे। सबसे ऊंची चोटी माउंट एवरेस्ट का नाम भी सर जॉर्ज एवरेस्ट के नाम पर ही पड़ा है। रॉयल एस्ट्रोनॉमिकल सोसायटी ने 1848 में उनका यह सम्मान उनके सर्वे में योगदान के लिए किया था। उनका घर ऐसी जगह बना है जहां से कोई भी दून घाटी, अलगाड़ नदी और बर्फ से ढके हिमालय का सुंदर दृश्य दिखाई देता है। यहां रोजाना सैकड़ों पर्यटक आते हैं।मसूरी लेक हाल में बना टूरिस्ट अट्रैक्शन है। देहरादून से ऊपर मसूरी आते वक्त मसूरी से 6 किलोमीटर पहले ही स्थित है मसूरी लेक और यहां कुछ देर के लिए ही सही लेकिन रुकना तो बनता है। यहां बोट राइड कर सकते हैं और यहां से घाटी का बेहद खूबसूरत नजारा भी देख सकते हैं। मसूरी में माल रोड पर हर वक्त टूरिस्ट्स की भीड़ जमा रहती है। आप चाहें तो शाम के वक्त यहां आराम से टहलने निकल सकते हैं। शॉपिंग करने के लिए भी माल रोड आपके लिए बेस्ट ऑप्शन है। कैम्पटी फॉल मसूरी आने वाले पर्यटकों के बीच फेमस जगह है। यह वॉटरफॉल करीब 40 फीट की ऊंचाई से नीचे गिरते हैं और फिर 5 अलग-अलग धाराओं में बंट जाते हैं। यहां आपको हर वक्त ही पर्यटकों की अच्छी खासी भीड़ नजर आएगी।लाल टिब्बा मसूरी का हाईएस्ट प्वॉइंट है। यहां की 20 मीटर ऊंचे टावर पर रखे पुराने टेलिस्कोप के जरिए पहाड़ी की खूबसूरती को निहार सकते हैं। लाल टिब्बा के बाद गन हिल मसूरी का दूसरा सबसे ऊंचा प्वॉइंट है जो माल रोड से करीब 400 फीट की ऊंचाई पर स्थित है। यहां रोपवे से पहुंच सकते हैं या फिर आधा घंटे लंबे एक ट्रैक के जरिए कोर्ट कॉम्प्लेक्स से आप यहां पहुंच सकते हैं।