मंडुआ ने बढ़ाया किसानों का मुनाफा
देहरादून । श्रीअन्न में शामिल मंडुवा उत्तराखंड किसानों के लिए मुनाफे का बड़ा सौदा बन सकता है। इस साल सरकार ने किसानों से 4200 रुपये प्रति कुंतल की एमएसपी पर 3100 मीट्रिक टन मंडुवा खरीदा है। एमएसपी के लिहाज से मंडुवा गेहूं और धान से भी करीब दो गुना अधिक महंगा है ही। खुले बाजार में इसका दाम 50 से 60 रुपये किलो तक पहुंच गया है। एक समय तक उपेक्षित अन्न माना जाने वाले मंडुवा अब हाथोंहाथ बिकने लगा है। सरकार और खुले बाजार में बेहतर मूल्य मिलने की वजह से राज्य में मंडुवे की खेती के प्रति किसानों को रुझान एक बार फिर से बढ़ा है। मालूम हो कि वर्ष 2020-21 में राज्य में मंडुवे की खरीद की प्रक्रिया शुरू की गइ थी। तब खरीद केंद्रों की संख्या 23 थी। जबकि खरीद केंद्रों की संख्या वर्ष 2024-25 में बढ़कर 270 हो गई है। इन केंद्रों के जरिए किसानों से 3100.17 मीट्रिक टन मंडुवा की खरीद की गई है। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि राज्य में मंडुआ परंपरागत तौर पर उगाया जाता है। यह पौष्टिक होने के साथ ही आर्गेनिक भी होता है।प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा मिलेट्स उत्पादों को बढ़ावा दिए जाने के बाद भी मंडुआ की मांग बढ़ी है। इसलिए राज्य सरकार सीधे किसानों से मंडुआ खरीद करते हुए, उत्पादन बढ़ाने पर जोर दे रही है। इसके सकारात्मक परिणाम सामने आने लगे हैं।
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गेहूं-धान से महंगा है मंडुवा
वर्ष 2024-25 में धान का एमएसपी 2320 रुपये प्रति कुंतल तक है। जबकि गेहूं का एमएसपी 2275 रुपये प्रति कुंतल तक है। जबकि मंडुवा प्रति कुंतल 4200 रुपये प्रति कुंतल के भाव पर सरकारी खरीद केंद्रों पर खरीदा गया है।